
नौकरी में प्रमोशन कब होगा?
हर जातक/जातिका जो नोकरी करते है उच्च पद, सामान्य पद आदि पर होने पर भी यह इच्छा सभी की होती है कब प्रमोशन होगा, कब वर्तमान में जो पद है उससे ऊपर कब उठेंगे, कब प्रमोशन देने वाली ग्रह दशाएँ आएंगी। आज अब इसी विषय पर बात करते है कब प्रोमोशन होगा और कब ?
प्रमोशन(Promotion) मतलब पदवृद्धि, नीचे से ऊपर की उठना, कुंडली का दसवाँ भाव कर्यक्षेत्र(नोकरी)का है साथ ही नवा भाव भाग्य का है तो ग्यारहवा भाव लाभ का है। जब दसवाँ भाव बलवान हो, साथ ही दसवे भाव का स्वामी भी बलवान होगा तब प्रमोशन नोकरी में मिलते है , दसवे भाव सहित ग्यारहवा भाव और नवा भाव भी बलवान होता है तब प्रमोशन काफी ऊँचे पद पर होता है क्योंकि दसवाँ भाव नोकरी का है सामान्य सफलता का है तो नवा भाव भाग्य और ग्यारहवां भाव वृद्धि/लाभ ,आर्थिक लाभ/आय का होने से ज्यादा बड़ी उन्नति(प्रमोशन/Promotion)देने में सक्षम होता है।जब नवे दसवे और ग्यारहवे भाव तीनो बलवान होंगे तब जल्दी जल्दी प्रमोशन होते है और केवल दसवाँ भाव अच्छा बलवान हो तब प्रमोशन सामान्य स्तर पर होगा लेकिन होगा।।
अब जब बलवान दसवें भाव या दसवे भाव के स्वामी की या नवे भाव/नवे भाव के स्वामी की या फिर ग्यारहवे भाव/ग्यारहवे भाव के स्वामी की शुभ बलवान महादशा-अन्तरदशाये चलेगी अब प्रमोशन मिलेगा किस स्तर पर उन्नति होगी यह सब निर्भर करेगा प्रमोशन योग कितना ज्यादा बलवान स्थिति में है।। अब कुछ उदाहरणों से समझते है कैसे कब प्रमोशन होता है और कब?
उदाहरण_अनुसार1:- वृष_लग्न अनुसार:– वृष लग्न में जैसे शनि नवे भाव+दसवे भाव दोनों भावो का स्वामी होता है, अब शनि यहाँ दसवे भाव मे बैठा हो राजयोग बनाकर, जैसे बुध या शुक्र के साथ हो तब शनि ऐसी स्थिति में प्रमोशन करा देगा, साथ ही यहाँ ग्यारहवा भाव भी बलवान हुआ और ग्यारहवे भाव का स्वामी गुरु भी बलवान होगा तब प्रमोशन बहुत उच्च पद पर होगा ,अपने पद से।जब शनि या शनि के साथ बैठे शुभ स्थिति में ग्रहों की दशा लगेगी तब प्रमोशन होगा।।
उदाहरण_अनुसार2:– कर्क_लग्न अनुसार, कर्क लग्न में दसवे भाव का स्वामी मंगल बनेगा अब मंगल यहां अच्छी स्थिति में हो जैसे मंगल ग्यारहवे भाव के स्वामी शुक्र के साथ बैठा हो अच्छी स्थिति में या मंगल 11वे भाव मे बहुत अच्छी स्थिति में राजयोग आदि में बैठा हो, तब ऐसी यह प्रमोशन के बहुत अच्छी स्थिति है, यहाँ मंगल या ग्यारहवे भाव के स्वामी शुक्र की बलवान दशा में या किसी राजयोग कारक ग्रहों की दशा में जिनका सम्बन्ध खासकर दसवे भाव या दसवे भाव के स्वामी मंगल से हो उस समय ऐसे ग्रहों की दशा आने पर प्रमोशन हो जाएगा, यहाँ प्रमोशन काफी उच्च पद पर होगा।।
उदाहरण_अनुसार3:- धनु_लग्न अनुसार , धनु लग्न में जैसे बुध दसवे भाव का स्वामी होकर रोजगार का प्रतिनिधित्व करता है, बुध यहाँ दसवे भाव मे ही बैठा हो या बुध की किसी शुभ योग में होगा तब ऐसी स्थिति में बुध की दशा या बुध के साथ शुभ सम्बन्ध में बैठे ग्रह की हो लेकिन नवा और ग्यारहवा भाव सामान्य स्थिति में हो ज्यादा बलवान न हो तब प्रमोशन होगा, लेकिन बहुत सामान्य सा, जब दसवे भाव के स्वामी बुध या दसवे भाव मे बैठे ग्रहों की दशा आएगी, लेकिन अब यहाँ नवे भाव का स्वामी सूर्य और ग्यारहवे भाव स्वामी शुक्र भी बलवान होगा तब प्रमोशन ज्यादा उच्च पद पर बड़े स्तर पर होगा।। इस तरह जब शुभ दशाएँ नवे,दसवे या ग्यारहवे भाव से सम्बंधित होगी और यह भाव बलवान होंगे तब प्रमोशन होगा, प्रमोशन किस का स्तर निर्भर करेगा कि दसवाँ+ग्यारहवा भाव या नवा भाव कितना बलवान स्थिति में है?।।।
नोट:- नोकरी से सम्बंधित ग्रहो की स्थिति प्रमोशन वाली हो लेकिन नोकरी संबंधी ग्रह कमजोर हो या पीड़ित हो तब उनका उपाय करके प्रमोशन नोकरी में हो जाता है।